दुर्ग। छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव होने के बाद अब मतदगणना का इंतजार है। 3 दिसम्बर को मतगणना होनी है और इसके लिए अफसरों की नियुक्ति भी हो गई। मंगलवार को दुर्ग, बेमेतरा एवं बालोद जिले के लिए नियुक्त अधिकारियों को बीआईटी सभागार में प्रशिक्षण दिया गया। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार विहित नियमों का पालन करते हुए मतगणना कार्य संपन्न कराने के लिए सभी आवश्यक बिन्दुओं की विस्तार से जानकारी दी गई।
कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी पुष्पेन्द्र कुमार मीणा के निर्देशानुसार उप जिला निर्वाचन अधिकारी बजरंग दुबे की मौजूदगी में राज्य निर्वाचन कार्यालय से आए निर्वाचन प्रशिक्षक पुल्लक भट्टाचार्य, गीता देवांगन ने मतगणना के दौरान किए जाने वाले दायित्वों की विस्तार से जानकारी देते हुए प्रशिक्षण दिया। मतगणना के संबंध में प्रमुख वैधानिक प्रावधानों, नियमों तथा मतगणना के दौरान कौन-कौन सी जरूरी सावधानी बरती जानी है एवं इस दौरान कौन-सी प्रारूप में आवश्यक प्रतिपूर्ति की जानी, इसकी जानकारी से अधिकारियों को अवगत कराया गया।
14 टेबल में होगी मतों की गणना
विधानसभावार 14 टेबल में मतों की गणना की जाएगी। प्रत्येक टेबल में एक सुपरवाईजर जो राजपत्रिक अधिकारी रेंक का होगा तथा एक गणना सहायक होंगे। प्रत्येक टेबल में माइक्रो आब्जर्वर नियुक्त किए जाएंगे। मतगणना अभिकर्ता की नियुक्ति तीन बार रेण्डोमाईजेशन कर किया जाएगा। पहली रेण्डोमाईजेशन जिला निर्वाचन अधिकारी की उपस्थिति में तथा दूसरा व तीसरा रेण्डोमाईजेशन आब्जर्वर की मौजूदगी में किया जाएगा। मतगणना स्थल पर प्रवेश हेतु निर्धारित लोगों को प्रवेश पास जारी किया जाएगा। प्रशिक्षण में दुर्ग अपर कलेक्टर अरविंद एक्का, गोकुल रावटे, नगर निगम आयुक्त व अपर कलेक्टर रोहित व्यास, उप जिला निर्वाचन अधिकारी बजरंग दुबे सहित तीनों जिले के आरओ और एआरओ. उपस्थित थे।
मोबाइल पर रहेगा प्रतिबंद, इन्हें मिलेगी अनुमति
प्रशिक्षण में बताया गया कि मतगणना स्थल में मोबाईल लेकर प्रवेश वर्जित रहेगा। मतगणना स्थल पर रिटर्निंग आफिसर एवं सहायक रिटर्निंग आफिसरों को भी मोबाईल रखने की अनुमति नहीं होगी। इस दौरान केवल प्रेक्षक ही मोबाईल रख सकेंगे। मीडियाकर्मियों को मतगणना स्थल में बनाए गए मीडिया सेंटर तक ही मोबाईल ले जाने की अनुमति दी जाएगी। वीडियोग्राफी रेण्डमाईजेशन प्रक्रिया, स्ट्रांग रूम के खोले जाने, स्ट्रांग रूम से मतगणना स्थल तक ईवीएम का परिवहन, मतगणना हॉल की व्यवस्थाओं, मतगणना प्रक्रिया, प्रेक्षकों द्वारा ईवीएम में गणना की, सुरक्षा व्यवस्थाओं की, अभ्यर्थी या अभ्यर्थी के अभिकर्ताओं की उपस्थिति की, परिणाम घोषणा प्रक्रिया की जाएगी। समस्त प्रक्रियाओं की वीडियोग्राफी की सीडी बनाकर रखना होगा। प्रशिक्षण में आज मतगणना कार्य को सफलतापूर्वक संपादित करने हेतु अधिकारियों को अनुशासन व शिष्टाचार के साथ मतगणना की बारीकियों के संबंध में गहन प्रशिक्षण दिया गया।
दी गई पूरी ट्रेनिंग
इस दौरान मतगणना के संबंध में भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों की जानकारी देते हुए उनका शत्-प्रतिशत् पालन सुनिश्चित करने को कहा गया। प्रशिक्षकों के द्वारा ईवीएम की सील तोड़ने की विधि के अलावा संपूर्ण मतगणना प्रक्रिया की जानकारी दी गई। इसके साथ ही आवश्यकता पड़ने पर पुर्नगणना, लाट आदि की प्रक्रियाओं एवं निर्देशों के संबंध में विस्तारपूर्वक जानकारी दी गई। प्रशिक्षण में बताया कि दो उम्मीदवारों को बराबर मत प्राप्त होने की स्थिति में लाट निकाला जाएगा। लाट निकालने से पहले निर्वाचन आयोग से अनुमति लेना आवश्यक है। प्रशिक्षण में मतगणना स्थल पर प्रवेश हेतु मतगणना कार्य में लगे अधिकारी-कर्मचारियों के अलावा उम्मीदवारों एवं उनके निर्वाचन अभिकर्ताओं तथा मीडियाकर्मियों को पहचान पत्र जारी किए जाने के संबंध में प्राप्त दिशा-निर्देशों की भी जानकारी दी गई। प्रशिक्षण में मतगणना के दौरान भारत निर्वाचन आयोग द्वारा नियुक्त किए गए प्रेेक्षकों की भूमिका के संबंध में भी जानकारी दी गई।
भारत निर्वाचन आयोग के दिशा निर्देशों की दी जानकारी
कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी पुष्पेन्द्र कुमार मीणा ने मतगणना कार्य को प्रारंभ करने के पूर्व मौके पर उपस्थित उम्मीदवारों एवं उनके निर्वाचन अभिकर्ताओं को निर्वाचन आयोग से प्राप्त दिशा-निर्देशों की जानकारी अनिवार्य रूप से देने को कहा। प्रशिक्षण के दौरान मतगणना केन्द्रों पर आधारभूत संरचना, मतगणना केन्द्रों में सुरक्षा व्यवस्था, मीडिया सेंटर में आवश्यक सुविधाएं, सुरक्षा व्यवस्था, गणना हेतु मतगणना सामग्री, डाक मतपत्रों की गणना, ईवीएम में दर्ज मतों की गणना, वीवीपीएटी स्लीप गणना, मतगणना की समाप्ति के पश्चात ईवीएम तथा निर्वाचन सामग्रियों को मुहरबंद करने और परिणाम की घोषणा के संबंध में भी विस्तारपूर्वक जानकारियां दी गई।